👉लाड़ी लोहाणा पंचायत के दो दिवसीय राष्ट्रीय अधिवेशन में एक जुटता और समस्याओं के समाधान पर चर्चा
न्यूज़ स्ट्रोक
आगरा, 01 अक्टूबर। समाज में व्याप्त कुरीतियों की खिलाफत और भाषाई संस्कृति को संरक्षण देने की दिशा में कार्यरत अखिल भारत लाड़ी लोहाणा सिंधी पंचायत का राष्ट्रीय अधिवेशन दयालबाग में हुआ। राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में भावी कार्यक्रमों की रूपरेखा तय की गई। समाज के अंतिम पायदान पर खड़े व्यक्ति और बालिकाओं की पढ़ाई की दिशा में कदम बढ़ाने का संकल्प लिया।
दो दिवसीय अधिवेशन का शुभारंभ सोमनाथ धाम के मठाधीश पीर डॉ. शंकर नाथ योगी, केंद्रीय मंत्री प्रो. एसपी सिंह बघेल, विधायक पुरुषोत्तम खंडेलवाल ने किया। स्वामी लीलाशाह महाराज एवं वरुणावतार भगवान श्री झूलेलाल की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर स्मरण किया गया।
अधिवेशन में समाज में व्याप्त कुरीतियों पर मंथन हुआ। वक्ताओं ने कहा कि कुरीतियों को खात्मा कर समाज को आदर्श बनाएं। अधिवेशन में राष्ट्रीय अध्यक्ष घनश्याम दास देवनानी, राज कोठारी, चंद्र प्रकाश सोनी, गागन दास रामानी, नरेश देवनानी, होतचंद सोमजाणी, रूपचंद सेवकानी, मेघराज दियालानी, ललित कोटक, अशोक लीला वाणी, रामचंद्र खत्री, लीलाधर नरवानी, कांतिलाल उमलाणी, दिलीप भाई जोबनपुत्र, सुरेश लालवाणी आदि ने ज्योति प्रज्ज्वलित की।
संगठन 1973 से ही इस बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ को लेकर क्रियाशील- घनश्याम दास देवनानी
अखिल भारत लाड़ी लोहाणा सिंधी पंचायत के राष्ट्रीय अध्यक्ष घनश्याम देवनानी ने न्यूज़ स्ट्रोक से बातचीत में बताया कि संगठन की स्थापना 19 नवंबर 1958 को की गई थी। 29 साल बाद राष्ट्रीय कार्यकारिणी का यह अधिवेशन हो रहा है। इस अधिवेशन में प्रमुख रूप से समाज की तमाम समस्याओं पर गहनता से चर्चा की गई। समाज के बच्चों की शिक्षा पर विशेष बल दिया गया है। उन्होंने बताया कि आज सरकार बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर काम कर रही है जबकि हमारा संगठन 1973 से ही इस बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ को लेकर क्रियाशील है। समाज में पूरी तरह समानता आये और सबसे निचले तबके तक हम सब मिलजुलकर काम करें। सिंधी समाज के सभी लोग एक मंच पर आएं, इस पर विशेष बल दिया गया है। देवनानी ने बताया कि इस अधिवेशन में 73 जिलों के प्रतिनिधि आए हैं और साथ प्रदेशों के अध्यक्ष भी शामिल हुए हैं।
यह रहे मौजूद
अधिवेशन के पहले दिन दयाल भगत, जेठा भाई कारीया, सुनील कुमार मूलचंदानी, रोहित कुमार जामनानी, दिलीप कुमार चंदवानी, नारायण दास पारवानी, जगदीश मगनाणी, रेवा बाई कलवाणी, मोहनलाल बसवानी,दीपक कुमार लोहाणा, हरीश कुमार मूलचंदानी, अशोक कोडवानी, किशोर बुधरानी, वासदेव आडवाणी आदि की मौजूदगी अहम् रही।
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